मालगाड़ी के लिये रेलमार्ग
सन 2002 में Frankfurt और Cologne शहर के बीच राज-पथ 3 (Autobahn 3) के साथ साथ एक नए रेल-मार्ग का निर्माण पूरा हुआ. उससे दोनों शहरों के बीच का रास्ता बहुत कम समय में तय होने लगा. लेकिन ये रेल-मार्ग खास कर Germany की तेज रेल ICE के लिए बनाया गया था जो केवल यात्रियों के लिए उपयोग होती है और बहुत तेज गति से चलती है (300 kilometre प्रति घण्टा). माल-गाड़ियां, जो बहुत शोर करती हैं और धीमी चलती हैं, को अभी भी बहुत घूम कर जाना पड़ता है, जिस से रेल-पथ के आस-पास रहने वाले लोगों को भी तकलीफ़ होती है. इस ICE रेल-मार्ग को बनाने में दस साल लगे और 5 अरब Euro से अधिक का खर्च आया. लेकिन माल-गाड़ियों के लिए अलग रेल मार्ग बनाने की बहुत सख्त ज़रूरत है क्योंकि राईन दरिया (Rhein) के दोनों तरफ़ के रेल-मार्गों पर प्रतिदिन 270 माल-गाड़ियां आती जाती हैं. और अगले दस साल में यह यातायात 20 प्रतिशत बढ़ने की सम्भावना है. लेकिन रेल company 'Die Bahn इस रेल-मार्ग को बनाने का खर्च उठाना नहीं चाहती. माल-गाड़ियां ICE रेल-मार्ग पर भी नहीं चल सकतीं क्योंकि माल-गाड़ियां ICE की तुलना में बहुत भारी होती हैं और बहुत धीरे चलती हैं (80 kilometre प्रति घण्टा). नया रेल-मार्ग शायद राज-पथ 45 या 61 के साथ साथ बनाया जाएगा.